
नई दिल्ली। कांग्रेस एक ओर नया पार्टी अध्यक्ष चुने जाने की तैयारी कर रही है दूसरी ओर उसके वरिष्ठ नेता गुलाम नबी आजाद ने पार्टी से इस्तीफा दे दिया। उन्होंने कांग्रेस की प्राथमिक सदस्यता भी छोड दी है। कांग्रेस के लिए यह बडा झटका माना जा रहा है। गुलाम नबी आजाद ने हाल ही में जम्मू और कश्मीर के पार्टी के अहम पद से भी इस्तीफा दिया था। उन्होंने शुक्रवार को पार्टी के सभी पदों से इस्तीफा दे दिया है। गुलाम नबी जी-23 के सदस्य थे। यह कांग्रेस में असंतुष्ट गुट के रूप में सामने आया था। इस गुट में मनीष तिवारी और आनंद शर्मा सरीखे सीनियर लीडर शामिल थे।
गुलाम नबी आजाद ने पार्टी की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी को पांच पेज का पत्र लिखकर कांग्रेस से नाता तोडने की सूचना दी है। उन्होंने पत्र में कहा है कि वह भारी मन से यह निर्णय कर रहे हैं। गुलाम नबी आजाद कांग्रेस के प्रमुख नेताओं में शुमार रहे हैं और राज्यसभा में विपक्ष का नेता पद भी संभाल चुके हैं।
गुलाम नबी ने कहा है कि कांग्रेस को संचालित करने वाली मंडली के संरक्षण में पार्टी भारत के लिए क्या सही है इसके लिए लडने की इच्छा शक्ति और क्षमता दोनों खो चुकी है। इसलिए बडे खेद और बेहद भावुक हृदय के साथ मैने भारतीय राष्टीय कांग्रेस से अपना आधा शताब्दी पुराना नाता तोडने का फैसला किया है।