
नई दिल्ली: कांग्रेस वक्फ (संशोधन) विधेयक, 2024 के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट का रुख करेगी। इस बिल को व्यापक बहस के बाद लोकसभा और राज्यसभा दोनों में पारित किया गया था। एआईसीसी के महासचिव जयराम रमेश ने कहा कि भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस (आईएनसी) जल्द ही वक्फ (संशोधन) विधेयक, 2024 की संवैधानिकता को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती देगी। लोकसभा में वक्फ (संशोधन) विधेयक, 2024 के पक्ष में 288 मत और 232 मत विपक्ष में पड़े। राज्यसभा में 128 सदस्यों ने विधेयक के पक्ष में और 95 ने इसके खिलाफ मतदान किया। अब इस विधेयक को कानून बनने से पहले भारत के राष्ट्रपति के पास मंजूरी के लिए भेजा जाएगा। दोनों सदनों में विधेयक के पक्ष और विपक्ष में तीखी बहस हुई।
तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम.के. स्टालिन ने राज्य विधानसभा घोषणा की थी कि डीएमके विधेयक को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती देगी। इसके एक दिन बाद कांग्रेस ने भी यही फैसला किया है। जयराम रमेश ने कहा, “हमें विश्वास है और हम भारत के संविधान में निहित सिद्धांतों, प्रावधानों और प्रथाओं पर मोदी सरकार द्वारा किए गए सभी हमलों का विरोध करना जारी रखेंगे।
विधेयक पर चर्चा करते हुए गृह मंत्री अमित शाह ने मुस्लिम समुदाय को आश्वासन दिया कि नया विधेयक उनकी धार्मिक प्रथाओं में हस्तक्षेप नहीं करता है। हालांकि, विपक्ष ने विधेयक का कड़ा विरोध किया, इसे ‘असंवैधानिक’ बताया और सरकार पर मुस्लिम समुदाय से वक्फ संपत्ति जब्त करने का प्रयास करने का आरोप लगाया।
इस विधेयक को पहली बार अगस्त 2024 में पेश किया गया था, जिसके बाद सदन के अनुरोध पर इसे संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) के पास भेजा गया, जिसने इस पर व्यापक विचार-विमर्श किया। संसद में विधेयक पेश किए जाने से पहले जेपीसी रिपोर्ट को केंद्रीय मंत्रिमंडल ने मंजूरी दे दी थी