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-कृष्ण बलदेव हाडा-
कोटा। राजस्थान में कोटा के जिला कलक्टर ओपी बुनकर ने मंगलवार को कोटा बैराज एवं जल भराव वाले क्षेत्रों का निरीक्षण कर बचाव एवं राहत कार्यों का जायजा लिया। उन्होंने प्रशासन की ओर से बनाये गए अस्थाई आश्रय स्थलों में नागरिकों को दी जा रही सुविधाओं का भी निरीक्षण कर सभी लोगों को बेहतर सुविधाएं प्रदान करने के निर्देश दिए। कलक्टर ने कोटा बैराज से 18 गेट खोलकर 5 लाख 20 हजार क्यूसेक पानी निकासी का जायजा लेकर जल संसाधन विभाग के अधिकारियों से चर्चा की तथा गांधी सागर बांध से पानी की आवक को देखते हुए पानी निकासी बढ़ाने के दौरान बरती जाने वाली सावधानियों के बारे निर्देश दिए। उन्होंने चम्बल नदी पर बने पुलों पर अनावश्यक भीड़ जमा नहीं होने देने के लिए पुलिस अधिकारियों एवं नगर निगम की टीम को निगरानी रखने के निर्देश दिए।
कलक्टर ने जल प्रभावित क्षेत्रों से रेस्क्यू किए गए नागरिकों के लिए आश्रय स्थल का निरीक्षण कर सुविधाओं की जानकारी ली। उन्होंने आश्रय स्थलों पर पर्याप्त मात्रा में भोजन, आवास व्यवस्था, पेयजल एवं साफ-सफाई की नियमित व्यवस्था के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि आश्रय स्थलों पर रूकें नागरिकों के स्वास्थ्य का नियमित परीक्षण कर आवश्यक दवाओं की उपलब्धता भी सुनिश्चित की जाए।
कलक्टर ने खण्ड गांवड़ी एवं नन्दा की बाड़ी क्षेत्र में चम्बल नदी के पानी भराव से प्रभावित आवासीय क्षेत्रों में एसडीआरएफ की बोट में बैठकर बचाव एवं राहत कार्य का जायजा लिया। खण्ड गांवड़ी के निचले आबादी क्षेत्र में एक-एक मंजिल तक पानी भराव होने से उन्होंने आस-पास के सभी घरों से नागरिकों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने, विद्युत आपूर्ति बंद रखने तथा पानी भराव वाले क्षेत्रों नागरिकों का आवागमन पूरी तरह बन्द रखने के निर्देश दिए। इस दौरान अतिरिक्त कलक्टर प्रशासन राजकुमार सिंह, शहर बृजमोहन बैरवा, अतिरिक्त आयुक्त नगर निगम अम्बालाल मीणा, उपायुक्त गजेन्द्र सिंह, जिला परिवहन अधिकारी बीसी गंगवाल, उप निदेशक समाज कल्याण ओमप्रकाश तोषनीवाल सहित संबंधित अधिकारी उपस्थित रहे।

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