-अखिलेश कुमार-

(फोटो जर्नलिस्ट)
कोटा डीसीएम फ्लाई ओवर के निकट रियासतकाल से मौजूद शिकार माला विकास की भेंट चढ़ गया। गत वर्ष 2022 के जुलाई माह में यहां से गुजरते समय इतिहासविद श्री फिरोज अहमद जी ने यहां मौजूद रियासतकालीन शिकारमाले के बारे में बताया था। तब मैंने अपने मोबाइल कैमरे से शिकारमाले की तस्वीर ले ली थी।

हाल ही में जब मैं यहां से गुजरा तो उक्त शिकरमाला गायब मिला! आसपास के लोगों से जानकारी मांगने पर उन्होंने बताया कि नगर विकास न्यास द्वारा पक्का नाला निर्माण करवाया जा रहा है। नाले के निर्माण की प्रक्रिया में अधिकारियों को शिकारमाल अवरोध दिखाई दे रहा था, इसलिए मजदूरों ने इसे ढहा कर जमीन समतल कर दी !! विडंबना यह है कि एक ओर चंबल रिवर फ्रंट पर प्राचीन धरोहरों को बनाए रखा गया जबकि शहर में अन्य स्थानों पर इन धरोहरों से जनता को अवगत कराने और संरक्षित करने के बजाय समूल नष्ट किया जा रहा है।



















