
-पेड़ पौधे ही पृथ्वी को बचा सकते हैं
कोटा। विश्व ओजोन संरक्षण दिवस पर अनंतपुरा स्थित वन विभाग के स्मृति वन की लवकुश वाटिका में ओजोन संरक्षण दिवस मनाया गया। इस अवसर पर उपवन संरक्षक जयराम पांडे ने ओजोन संरक्षण का महत्व बताते हुए स्कूल के बच्चों से पेड़ लगाने एवं पेड़ बचाने का आह्वान किया उन्होंने कहा कि पेड़ पौधे ही पृथ्वी को प्रदूषण के जहर से बचा सकते हैं एवं सूर्य की पराबैंगनी किरणों के घातक प्रभाव से बचाने के लिए जल जंगल जमीन के संतुलन का बहुत महत्व है स्मृति वन सलाहकार समिति के अध्यक्ष पर्यावरणविद् बृजेश विजयवर्गीय ने कहा कि ओजोन परत को बचाने की बहुत आवश्यकता है इसके लिए प्रदूषण का जहर खत्म करना होगा और यह काम शिव स्वरूप में पेड़ पौधे ही कर सकते हैं। चंबल संसद के अध्यक्ष कुंज बिहारी नंदवाना ने बढ़ते प्रदूषण पर चिंता व्यक्त करते हुए कहा कि नई पीढ़ी को सजग हो जाना चाहिए एवं जल जंगल और जमीन को बचाने के लिए लोगों को जागरूक करने की जरूरत है।
बायोलॉजिस्ट डॉक्टर कृष्णेन्द्र सिंह ने मॉन्ट्रियल संधि को ओजोन दिवस मनाने का प्रथम अवसर बताया जब विश्व समुदाय ने इसे सार्वजनिक रूप से मनाने का आह्वान किया। सर्प विशेषज्ञ डॉक्टर विनीत महोबिया ने पृथ्वी पर रहने वाले जंतुओं के संरक्षण और सांपों की प्रजातियां को पहचान कर उन्हें बचाने के तरीके बताए। इस अवसर पर नालंदा एकेडमी स्कूल के बच्चों ने निबंध और चित्रकला प्रतियोगिता में भाग लिया। प्राचार्य सीमा शर्मा , उपाचार्य इमरान खान की अगुवाई में छात्रों ने लव कुश वाटिका में अवलोकन कर वन , वन्यजीवों एवं पेड़ पौधों की जानकारी प्राप्त की। प्रतियोगिता में भाग लेने वाले बच्चों को पुरस्कार वितरित किए गए। वन औषधि विशेषज्ञ कन्हैया लाल गोचर ने भी यहां पर वन औषधीय की प्रजातियां रोपित की है।कार्यक्रम के संचालक समिति के स्काउट उप प्रधान यज्ञ दत्त हाडा ने बताया कि स्मृति वन में मनरेगा के समीकरण को भी ओजोन संरक्षण दिवस का महत्व बताया गया। क्षेत्रीय वन अधिकारी कुंदन सिंह यादव, धर्मराज, नीतू मालव, हरेंद्र सिंह के अलावा वन विभाग के कर्मचारी और अधिकारी मौजूद रहे। वन अधिकारियों ने वॉच टावर पर्वत निर्माण का अवलोकन किया।