
-अखिलेश कुमार-

(फोटो जर्नलिस्ट)
उगते हुए सूरज की किरणें सकारात्मकता का प्रतीक मानी जाती हैं। उगते हुए सूरज की किरणें बताती हैं कि जीवन का आरंभ हुआ है और अब जीवन का आरंभ कर के नए सृजन कार्यों को करना है। यह जीवन एक दिन के समान है। इस पूरे दिन में सार्थक कार्य करके दिन रूपी जीवन को सार्थक बना देना है।
सनातन धर्म में पांच देवों की आराधना का महत्व है। सूर्य, गणेशजी, देवी दुर्गा, शिव और विष्णु। इन पांचों देवों की पूजा सब कार्य में की जाती है। इनमें सूर्य ही ऐसे देव हैं जिनका दर्शन प्रत्यक्ष होता रहा है। सूर्य के बिना हमारा जीवन नहीं चल सकता। सूर्य की किरणों से शारीरिक व मानसिक रोगों से निवारण मिलता है। शास्त्रों में सूर्य की उपासना का उल्लेख मिलता है।

अथर्ववेद के एक मंत्र में कहा गया है कि उदित होता हुआ सूर्य मृत्यु के सभी कारणों अर्थात सभी रोगों को नष्ट करता है। उदित होते हुए सूर्य से अवरक्त किरणें निकलती हैं। इन लाल किरणों में जीवन शक्ति और रोगों को नष्ट करने की विशेष क्षमता होती है।
सूर्याेदय और सूर्यास्त के समय सूर्य लाल दिखता है । क्यों ? सूर्याेदय एवं सूर्यास्त के समय सूर्य की किरणें पृथ्वी के वायुमंडल में अधिक दूरी तय करती है जिसके कारण सूर्य के प्रकाश का प्रकीर्णन हो जाता है चूँकि लाल रंग का प्रकीर्णन बहुत कम होता है अतः हमें सूर्य लाल रंग का दिखता है।