पाक में हिन्दू-भारत विरोधी नेता संकट में क्यों?

दशहरे पर फ्रांस ने भारत को पहला राफेल फाइटर जेट सौंपा था। पारंपरिक तौर पर रक्षा मंत्री श्री राजनाथ सिंह ने इसकी पूजा की थी। भारत में दशहरे पर शस्त्र पूजा की प्राचीन और पारम्परिक धार्मिक परंपरा है। फ्रांस में शस्त्र पूजा पर राजनाथ ने कहा था कि अलौकिक शक्ति में हमारा पूर्ण विश्वास है। हालांकि पूजा को गलत बताने वालों को कौन बताए कि संसार में केवल दो चीजें ही अनंत हैं- ब्रह्मांड और विस्तार। तमाम हल्की बातों को किनारे रख दें। अगर कोई भारतीय हमारी परंपरानुसार पूजा करता है, तो किसी को भी उसकी आलोचना करने की क्या जरूरत है।

rk sinha, founder sis, former member of rajya sabha, at his residence, for it hindi shoot. phorograph by hardik chhabra.
आर के सिन्हा

-आर.के. सिन्हा-

 पाकिस्तान में आजकल एक अजीब तरह का इत्तेफाक देखने में आ रहा है। आटे की कमी और महंगाई की मार से त्रस्त और पस्त झेलते पाकिस्तान में  इमरान खान के तीन करीबी नेताओं पर शरीफ सरकार का शिकंजा कसता जा रहा है। ये सभी घनघोर भारत तथा हिन्दू विरोधी बयानबाजी करने के कारण बदनाम रहे हैं। इमरान खान की सरकार में गृहमंत्री शेख राशिद और विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्री फवाद चौधरी जेल भी जा चुके हैं। इन दोनों पर सरकारी कामकाज में बाधा उत्पन्न करने के आरोप हैं। कश्मीरी मूल के शेख राशिद रावलपिंडी के उसी गॉर्डन कॉलेज में पढ़े हैं जिसमें सशक्त अभिनेता बलराज साहनी और उनके अनुज तथा महान कथाकार भीष्म साहनी पढ़ते थे। शेख राशिद बेहद हल्के इंसान हैं। उनकी किसी प्रेस क़ॉफ्रेंस को देखकर उनके गटर छाप होने का अंदाजा लग जाता है। उनके तीन काम हैं। वे या तो शरीफ बंधुओं को कोस रहे होते हैं या वे जरदारी और उनके पुत्र बिलाल भुट्टो को पाकिस्तान के ताजा खराब हालातों के लिए दोष दे रहे होते हैं। यहां तो वे अपने राजनीतिक विरोधियों पर वार करते हैं। पर उन्हें अपने देश के कठमुल्लों के बीच इसलिए सम्मान मिलता रहा हैक्योंकिवे भारत को परमाणु युद्ध की धमकी देते रहते हैं। अपने को दिलीप कुमार तथा रेखा का फैन बताने वाले शेख राशिद यहां तक कह चुके हैं कि उनके देश के पास रखे परमाणु हथियार भारत के खिलाफ  इस्तेमाल हो सकते हैं। इस्तेमाल इस तरह से होंगे ताकि भारत में रहने वाले मुसलमान बच जाएं।

शेख राशिद कहते थे कि हमारे पास 250-250 ग्राम के न्यूक्लियर हथियार हैंहम जहां चाहे गिरा सकते हैं। पाकिस्तान को डरने की क्या जरूरत है। इसके साथ ही वो कहा करते थे कि भारत को ऐसा सबक सिखाएंगे कि वो हमेशा याद रखेंगे। वे पाकिस्तान की बदहाली के लिए सरकार की नीतियों से अधिक अल्ला ताला के मुंह फेरने को जिम्मेदार बताते थे। बहरहालवे आजकल जेल की हवा खा रहे हैं। जेल में जाते हुए वे कांप रहे होते हैं।

फवाद चौधरी भी शेख राशिद की तरह ही भारत विरोधी हैं। वे भी भारत की तरक्की से जलते-भुनते रहे हैं। जब राफेल लड़ाकू विमान को सौंपे जाने से पहले रक्षा मंत्री द्वारा पूजा हुई तो फवाद चौधरी ने पूजा का मजाक उड़ाया । दशहरे पर फ्रांस ने भारत को पहला राफेल फाइटर जेट सौंपा था। पारंपरिक तौर पर रक्षा मंत्री श्री राजनाथ सिंह ने इसकी पूजा की थी। भारत में दशहरे पर शस्त्र पूजा की प्राचीन और पारम्परिक धार्मिक परंपरा है। फ्रांस में शस्त्र पूजा पर राजनाथ ने कहा था कि अलौकिक शक्ति में हमारा पूर्ण विश्वास है। हालांकि पूजा को गलत बताने वालों को कौन बताए कि संसार में केवल दो चीजें ही अनंत हैं- ब्रह्मांड और विस्तार। तमाम हल्की बातों को किनारे रख दें। अगर कोई भारतीय हमारी परंपरानुसार पूजा करता हैतो किसी को भी उसकी आलोचना करने की क्या जरूरत है। रक्षा मंत्री ने केवल भारतीय  परंपराओं का निर्वहन किया था। चौधरी बिना जाने-समझे बकवास कर रहे थे। वे भी जेल में भेजे गए थे। फिलहाल जेल से बाहर है। सुना है कि उनकी जेल में कसकर सेवा हुई है।

शेख राशिद तथा चौधरी की तरह एक फैय्याज चौहान साहब भी हैं। वे एक बार कह रहे थे कि “हम हिन्दुओं की तरह बुतपरस्त नहीं हैं। हम मुसलमान हैं। भारत यह न सोचे कि वे हमसे सात गुना बड़ा है।” उनका एक वीडियों वायरल हो गया हैजिसमें वे हिन्दुओं पर करारा प्रहार कर रहे हैं। हालांकिवे यह सब करते हुए कहीं न कहीं अपनी पुरखों को ही कोस रहे थे। उन्हें ही गालियां दे रहे थे। चौहान को लगता है कि उन्हें अपने पूर्वजों के संबंध में कोई इल्म ही नहीं है। उनका सरनेम चौहान होना ही इस बात की गवाही है कि उनके पुऱखे राजपूत हिन्दू थे।  फैय्याज चौहान के पास गलती से संस्कृति विभाग का भी दायित्व था। जरा देख लीजिए कि संस्कृति मंत्रालय को देखने वाला शख्स किस सड़कछाप भाषा का इस्तेमाल कर रहा है। उनके अपने देश में अब भी चालीस-पचास लाख बचे खुचे हिन्दू रहते हैं। हिन्दू पाकिस्तान का सबसे बड़ा अल्पसंख्यक समुदाय भी है। इन सबके बावजूद वे अपने देश के हिन्दुओं का भी घोर अनादर करते हैं। वे भारत के ऊपर तोहमत लगाएं तो समझ आता है। पर हिन्दू धर्म ने वहां पर किसी का क्या बिगाड़ा है।

शेख राशिद एक बार कह रहे थे कि अगर भारत ने पाकिस्तान पर हमला किया तो “पाकिस्तान को भारत पर परमाणु बम गिराने में देर नहीं लगेगी। हम मंदिरों की घंटियों को बंद करवा देंगे।” गौर कीजिए कि ये सब मंत्री पाकिस्तान के पंजाब प्रांत से ही आते हैं। पाकिस्तान के इसी प्रान्त में भारत के खिलाफ सर्वाधिक दुश्मनी का माहौल रहता है। देश के बंटवारे के वक्त पाकिस्तान के हिस्से वाले पंजाब में ही सबसे अधिक खून खराबा हुआ था। शेख राशिद के खुद के शहर रावलपिंडी में मई1947 में ही जमकर हिन्दुओं और सिखों का कत्लेआम हुआ था। यहां के हिन्दू और सिख खासे सम्पन्न हुआ करते थे। वह आग आगे चलकर पंजाब के दूसरे बहुत से शहरों तक में फैल गई थी। फिलहाल उन जख्मों को फिर से हरा करने का वक्त नहीं है। लेकिनइनकी भड़काऊ बयानबाजी के पीछे गंभीर मंशा लगती है। पिछले दिनों चौहान से पुलिस के कुछ अफसर हिकारत से बात कर रहे थे जब वे लाहौर में इमरान खान के घर में जाने की कोशिश कर रहे थे। दरअसल पाकिस्तान को सुनिश्चित करना होगा ताकि उसके नेता भारत या हिन्दू धर्म को लेकर कोई आपत्तिजनक टिप्पणी न करें। दोनों देशों के संबंधों में सुधार न होने के पीछे एक बड़ा कारण शेख राशिदफवाद चौधरी तथा चौहान जैसे नेता ही रहे हैं। ये कुछ बोलने से पहले सोचते नहीं हैं। इनकी जुबान पर ताला लगना चाहिए।

(लेखक वरिष्ठ संपादकस्तंभकार और पूर्व सांसद हैं)

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