-संजय चावला-

sanjay chawala
संजय चावला

कोटा। पांच दिवसीय युवा नाट्य समारोह के अंतर्गत बुधवार को प्रथम दिन बोधायन का भगवदज्जुकम नाटक यूआईटी ऑडिटोरियम में खेला गया। सातवीं शताब्दी के इस लोकप्रिय संस्कृत प्रहसन के हिंदी अनुवाद में सभी कलाकारों ने अपनी भूमिका से प्रभावित किया। कार्यक्रम में मुख्य अतिथि राज्य मंत्री रमेश पौराना थे तथा अध्यक्षता अकादमी अध्यक्ष बिनाका जैशमलू ने की। निर्देशक अभिषेक तिवाड़ी ने बताया की गुरुवार को प्रातः 11 बजे हरिशंकर परसाई का लोकप्रिय नाटक भोलाराम का जीव खेला जायेगा। दोपहर 2 बजे रंग संवाद कार्यक्रम होगा जिसमे विभिन्न पहलुओं पर रंगकर्मी विमर्श करेंगे।

अनुभवी रंगकर्मी अभिषेक तिवाडी के निर्देशन में बोधायन लिखित इस नाटक में कुछ कलाकार नए थे लेकिन उनका अभिनय प्रशंसनीय रहा। विशेषकर कलाकारों ने लम्बे लम्बे संवाद भी बहुत ही कुशलता से बोले। इन संवाद में कई में तो क्लिष्ट संस्कृतनिष्ठ हिंदी का प्रयोग था।

अभिषेक तिवाडी मंजे हुए कलाकार हैं इसलिए गुरु के रुप में उनका अभिनय तो शानदार था लेकिन शिष्य शांडिल्य का पात्र निभाने वाले आकाश वाडिया का प्रदर्शन सराहनीय रहा। वसंत सेना की भूमिका में दसवीं कक्षा की छात्रा भूमिका शर्मा ने तो महसूस ही नहीं होने दिया कि वह पहली बार मंच पर अभिनय कर रही है। यमदूत शोएब खान, वैद्यराज निखिल वाडिया ने भी दर्शकों का ध्यान आकर्षित किया।

यूआईटी ऑडीटोरियम का मंच और लाइट तथा ध्वनि व्यवस्था बहुत अच्छी रही। कलाकारों के संवादों को सहजता से सुना जा सकता था। हालांकि कई बार ऐसा महसूस हुआ कि कलाकार इतने बडे मंच के प्रयोग का अनुभव नहीं रखते। कई बार वे एक कोने में सिमटे रहे। लेकिन कोटा के रंगकर्म के लिहाज से यह बहुत शानदार शुरुआत कही जा सकती है। विशेषकर यूआईटी ऑडिटोरियम रंगकर्मियों को मिलना स्वागत योग्य है। राजस्थान संगीत नाटक अकादमी के प्रयासों से कोटा में हाल ही में कुछ अच्छे आयोजन हुए हैं और अब इस तरह के नाट्य समारोह के आयोजन यदि शुरु होते हैं तो 80 के दशक वाले दिन वापस लौट सकते हैं।

Advertisement
Subscribe
Notify of
guest

0 Comments
Oldest
Newest Most Voted
Inline Feedbacks
View all comments