कोटा में गुमानपुरा थाने से लाखों के जेवर-नकदी चोरी का नही मिला सुराग

पुलिसकर्मियों के नारको टेस्ट की मांग स्वीकार नहीं

crime news

-कृष्ण बलदेव हाडा-
कोटा। राजस्थान में कोटा के गुमानपुरा थाने की डबल लॉक की अलमारी में रखे एक पुलिस अधिकारी के 11 लाख रुपये के जेवरात व नकदी चोरी होने के मामले में डेढ़ माह बीत जाने के बाद भी फिलहाल आरोपियो के बारे में कोई सुराग हाथ नही लग पाया। हालांकि पीड़ित ने कुछ पुलिस कर्मियों पर शक भी जताया है और अधिकारियों के इसकी जानकारी देते हुये उनके बताये पुलिसकर्मियों के नारको टेस्ट की मांग भी उठाई है लेकिन न तो इसे स्वीकार किया गया है और न ही किसी आरोपी के बारे में पुलिस को कोई सुराग मिला है। आरोपी अब भी पुलिस की गिरफ्त से दूर है।
हद तो तब हो गई जब वारदात स्थल पर आम लोगों का आना-जाना भी नही होता और वहां हर वक्त पुलिस का जाब्ता तैनात रहता है, उसके बावजूद यह घटना घट गई। अब बड़ा सवाल खड़ा किया जा रहा है कि जब पुलिस थाने में एक पुलिस अधिकारी के जेवरात भी सुरक्षित नही है तो कोटा पुलिस आमजन के सामानों की सुरक्षा कैसे करेगी?
मामला इस प्रकार से बताया जाता है कि साल 2021 के कोरोना काल में गुमानपुरा थाने में तैनात सब इंस्पेक्टर रामकरण नागर व पत्नी कोरोना की चपेट में आ गये ओर कोरोना की वजह से सब इंस्पेक्टर की पत्नी की मौत हो गई थी। तब घर पर चोरी होने के डर से सब इंस्पेक्टर रामकरण नागर ने नकदी सहित करीब 11 लाख रुपये के जेवरात गुमानपुरा थाने में अपनी अलमारी में रख दिए थे। कई बार चेक किया तो जेवरात व नकदी वहां सलामत रखे मिले थे लेकिन 16 जुलाई 2022 को जब सब इंस्पेक्टर ने अलमारी खोली तो गहने गायब थे।
पीड़ित सब इंस्पेक्टर रामकरण नागर ने थाना प्रभारी,पुलिस अधिक्षक (शहर) व कोटा रेंज के पुलिस महानिरीक्षक तक से गुहार लगाई लेकिन पुलिस की बदनामी के डर से आरोपी का सुराग लगाना तो दूर,शुरु में फ़रियादी सब इसंस्पेक्टर की लिखित शिकायत पर मामला भी अब तक दर्ज नहीं हो किया गया। इसी दौरान 31 जुलाई को सब इंस्पेक्टर रामकरण नागर रिटायर्ड हो गये और अब रिटायर हो चुके पुलिस अधिकारी की पीड़ा पुलिस भी नहीं सुन रही है।
हालांकि बाद में चोरी का मामला तो दर्ज हो गया है लेकिन अब तक न तो माल बरामद हुआ है और न ही आरोपियों का पुलिस कोई सुराग लगा पाई है। पीड़ित रिटायर्ड पुलिस अधिकारी ने चंद पुलिसकर्मियों पर शक जाहिर करते हुए नारको टेस्ट की मांग भी उठाई लेकिन फिलहाल उसकी मांग को कानूनी तकनीकियों के चलते दरकिनार किया हुआ है व इस मामले में न कोई आरोपी गिरफ़्तार हुआ है।

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